विकास शुल्क बढा़ने के फैंसले पर हरियाणा सरकार ने लिया यू- टर्न, दी बड़ी राहत

चंडीगढ़ : हरियाणा सरकार ने सर्कल रेट पर 5 प्रतिशत डिवेलपमेंट चार्ज लेने के आदेश को वापस ले लिया है। अब डिवेलपमेंट चार्ज पुराने रेट से ही देना होगा। बता दें कि कुछ दिन पहले नोटिस जारी कर सरकार ने नगर परिषद के दायरे में कलेक्टर रेट के हिसाब से विकास शुल्क लेने का फैसला लिया था। जिससे शहरवासियों को चार से पांच गुणा ज्यादा विकास शुल्क देना पड़ता। पहले रिहायशी प्राॅपर्टी का 50 से 240 रुपये तक प्रति गज और कमर्शियल साइट का 500 रुपये वर्ग मीटर के हिसाब से विकास शुल्क निर्धारित था। सरकार के इस फैसले का लोग विरोध कर रहे थे।

अब तक विकास शुल्क प्रति वर्ग गज के हिसाब से लिया जाता था। जिसके अलग-अलग कालोनियों में अलग-अलग रेट थे। साल 2004 में वैध हुई शहर की साल कालोनियों में 120 रुपये प्रति वर्ग गज शुल्क लिया जाता था। वहीं साल 2014 में वैध हुई 60 कालोनियों में 50 रुपये गज और साल 2018 में वैध हुई 10 कालोनियों में 240 रुपये वर्ग गज विकास शुल्क नगर परिषद लेती थी।

सरकार ने नए कलेक्टर रेट को जो आदेश जारी किया था उसके अनुसार जिस कालोनी में 100 गज की प्रापर्टी पर 50 रुपये वर्ग गज के हिसाब से कुल पांच हजार रुपये विकास शुल्क लगता था। अगर उस कालोनी में कलेक्टर रेट पांच हजार रुपये है तो अब उस 100 गज की प्रापर्टी पर 25 हजार रुपये विकास शुल्क लगता। सरकार के इस फैसले का कांग्रेस और इनेलो भी जमकर विरोध किया था ।

 

Exit mobile version